Monday, July 11, 2011

तमन्नाओ में भी आपको याद करेंगे..

जिंदगी एक अभिलाषा है,
क्या अजीब इसकी परिभाषा है
जिंदगी क्या है मत पूछो ए दोस्तो,
संवर गई तो दुल्हन, बिखर गई तो तमाशा है।

शिवांगी सिंह,
भरतपुर (राज.)

आज सोचा सलाम भेजूं
आप मुस्कुराएं ऐसा पैगाम भेजूं।
कोई फूल तो मुझे मालूम नहीं
जो खुद गुलशन है उसे क्या गुलाब भेजूं।

नरेंद्र तायवाड़े,
राजनांदगांव (छग)

तमन्नाओं में भी आपको याद करेंगे
आपकी हर बात पर ऐतबार करेंगे।
आपको फोन करने को तो नहीं कहेंगे
पर आपके फोन का इंतजार करेंगे।

दयाशंकर प्रजापति,
पनवाड़ी (मप्र)

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